उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने सरोना डंप-साइट का किया निरीक्षण: तेजी से काम पूरा करने मशीनरी और मानव संसाधन बढ़ाने कहा, लाइव फीड के माध्यम से खुद भी करेंगे मॉनीटरिंग…..

उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने सरोना डंप-साइट का किया निरीक्षण: तेजी से काम पूरा करने मशीनरी और मानव संसाधन बढ़ाने कहा, लाइव फीड के माध्यम से खुद भी करेंगे मॉनीटरिंग…..

रायपुर: उप मुख्यमंत्री तथा नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री श्री अरुण साव ने आज सवेरे रायपुर में सरोना डंप-साइट का निरीक्षण किया। उन्होंने डंप-साइट में कचरा निपटान एवं प्रोसेसिंग के कार्यों को देखा। श्री साव ने बायो-रिमिडिएशन कार्य की गति पर असंतोष जाहिर करते हुए एजेंसी को 31 मार्च 2026 तक काम पूरा करने के सख्त निर्देश दिए। उन्होंने तेजी से काम पूरा करने मशीनरी और मानव संसाधन बढ़ाने को कहा। उन्होंने एजेंसी को फटकार लगाते हुए कार्य में किसी भी प्रकार की लापरवाही और ढिलाई पर सख्त कार्रवाई की चेतावनी दी। श्री साव के निरीक्षण के दौरान नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग के सचिव डॉ. बसवराजु एस., महापौर श्रीमती मीनल चौबे, निगम आयुक्त श्री विश्वदीप और सूडा के सीईओ श्री शशांक पाण्डेय भी मौजूद थे।

 उप मुख्यमंत्री श्री अरुण साव ने सरोना डंप-साइट का किया निरीक्षण

 उप मुख्यमंत्री श्री अरुण साव ने सरोना डंप-साइट का किया निरीक्षण

उप मुख्यमंत्री श्री साव ने सरोना डंप-साइट में बायो-रिमिडिएशन कार्य की निगरानी के लिए साप्ताहिक कार्ययोजना तैयार करने तथा प्रगति की रिपोर्ट उप मुख्यमंत्री कार्यालय, महापौर, राज्य शासन एवं सूडा (राज्य शहरी विकास अभिकरण) के सीईओ (सूडा) को नियमित रूप से भेजने के निर्देश दिए। उन्होंने लाइव फीड के जरिए खुद भी कार्यों की मॉनीटरिंग की बात कही। श्री साव ने रायपुर नगर निगम के अधिकारियों को प्रतिदिन साइट पर भौतिक प्रगति की समीक्षा करने तथा शासन स्तर पर लाइव फीड और ड्रोन के माध्यम से निरंतर निगरानी सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिए।

 उप मुख्यमंत्री श्री अरुण साव ने सरोना डंप-साइट का किया निरीक्षण

 उप मुख्यमंत्री श्री अरुण साव ने सरोना डंप-साइट का किया निरीक्षण

हरित क्षेत्र के रूप में विकसित होगा सरोना डंप-साइट

सरोना डंप-साइट के वैज्ञानिक और चरणबद्ध रिमिडिएशन के बाद इसे रायपुरवासियों के लिए हरित क्षेत्र के रूप में विकसित किया जाएगा। श्री साव ने साइट के निरीक्षण के बाद कहा कि इसे कचरे के ढेर से पूरी तरह मुक्त कर एक मॉडल रेमिडिएटेड साइट के रूप में विकसित किया जाएगा। इसका सौंदर्यीकरण कर शहर के लिए एक आदर्श उदाहरण बनाया जाएगा। स्वच्छता अभियान को मजबूती प्रदान करने के साथ-साथ यह राजधानी रायपुर को स्वच्छ एवं सुंदर बनाने में महत्वपूर्ण साबित होगा।

सरोना डंप-साइट का बायो-रिमिडिएशन स्वच्छ भारत मिशन के तहत देश भर में लेगेसी वेस्ट डंप-साइट्स (Legacy Waste Dump Sites) के रिमिडिएशन और उन्हें स्वच्छ, रहने योग्य शहरी स्थानों में बदलने के लिए एक व्यापक राष्ट्रव्यापी प्रयास का हिस्सा है। रायपुर नगर निगम के इस कार्य से शहर स्वच्छ और सुंदर बनने के साथ ही यह प्रदेशभर के जनप्रतिनिधियों तथा अन्य नगरीय निकायों को भी प्रोत्साहित करेगा। अन्य निकाय भी इससे प्रेरित होकर अपशिष्ट के व्यवस्थित तथा वैज्ञानिक प्रबंधन के लिए ठोस कदम उठाएंगे।

 उप मुख्यमंत्री श्री अरुण साव ने सरोना डंप-साइट का किया निरीक्षण

वर्षों से जमे अपशिष्ट का किया जा रहा वैज्ञानिक प्रसंस्करण

28 एकड़ में फैला सरोना डंप-साइट लंबे समय से पर्यावरणीय और स्वास्थ्य संबंधी चुनौतियों का कारण रहा है। पिछले 20 वर्षों से शहर का कचरा यहां जमा होता रहा है। वर्षों तक अपशिष्ट का ढेर जमा होने से भूजल प्रदूषण, दुर्गंध, मच्छरों का प्रजनन और आसपास के निवासियों के लिए अस्वस्थ वातावरण जैसी गंभीर चुनौतियाँ सामने आ रही थी। इससे बचने डंप-साइट पर जमा अपशिष्ट का वैज्ञानिक प्रसंस्करण करना अत्यंत आवश्यक था।

 उप मुख्यमंत्री श्री अरुण साव ने सरोना डंप-साइट का किया निरीक्षण
रायपुर नगर निगम ने सरोना डंप-साइट पर जमे साढ़े चार लाख टन अपशिष्ट के वैज्ञानिक प्रसंस्करण के लिए कार्ययोजना तैयार की है। यहां से अब तक चार लाख 30 हजार लाख टन अपशिष्ट का बायो-रिमेडिएशन कर जमीन को फिर से उपयोग के लायक बनाया गया है। जल्दी ही यहां से संपूर्ण अपशिष्ट का रिमेडिएशन कर लिया जाएगा। बायो-रिमेडिएशन से न केवल भूमि को पुनः उपयोग के योग्य बनाया जा सकता है, बल्कि आरडीएफ (Refused Derived Fuel), इनर्ट (Inert) और बायो-सॉयल (Bio-Soil) जैसे उपयोगी उत्पाद प्राप्त कर पर्यावरण संरक्षण और पुनर्चक्रण को बढ़ावा दिया जा सकता है।

About